
आत्मनिर्भर भारत के लिए मोदी सरकार के 20 लाख करोड़ के विशेष पैकेज को लेकर वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बुधवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस की, जिसमें उन्होंने बताया कि इस पैकेज के तहत किस सेक्टर को कितना पैसा दिया जाएगा। इस 20 लाख करोड़ में से सरकार ने करीब 6 लाख करोड़ की 15 घोषणाएं की। इसमें एमएसएमई, एनबीएफसी, एमएफआई, डिस्कॉम, रियल एस्टेट, टैक्स और कॉन्ट्रैक्टर्स को राहत देने के लिए घोषणाएं शामिल हैं।
वित्त मंत्री ने कहा ईपीएफ के लिए दी गई सहायता अगले तीन माह के लिए बढ़ाई जा रही है, जो पहले मार्च, अप्रैल, मई तक दी गई थी। उन्होंने कहा कि ईपीएफ में सरकारी मदद से इसका 3.67 लाख कंपनियों और 72.22 लाख कर्मचारियों को फायदा होगा। 15 हजार रुपये से कम वेतन वालों का ईपीएफ अगस्त तक केंद्र देगा।
कंपनियों और कर्मचारियों को ईपीएफ में 10-10 प्रतिशत देना होगा। इसमें कटौती से एम्पलॉयर को 6800 करोड़ रुपये का फायदा होगा। सरकारी और पीएसयू को 12 प्रतिशत ही देना होगा। पीएसयू पीएफ का 12 फीसदी ही देंगे, लेकिन कर्मचारियों को 10 प्रतिशत पीएफ देना होगा।
वित्त मंत्री ने कहा कि लॉकडाउन के कारण कंपनियों पर दबाव बढ़ा है। यह दबाव तब तक रहेगा जब तक वे पूरी तरह से दोबारा काम नहीं शुरू कर देती हैं। प्रधानमंत्री गरीब कल्याण पैकेज (पीएमजीकेपी) के तहत ईपीएफ खातों में कंपनी और कर्मचारी के 12-12 फीसदी का कॉन्ट्रिब्यूशन सरकार कर रही थी। सरकार इसे और तीन महीने तक बढ़ा रही है।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री गरीब कल्याण पैकेज में एक सुविधा दी गई थी कि 12-12 प्रतिशत ईपीएफ कर्मचारी और नौकरी देने वाले को केंद्र सरकार देगी। ये पहले तीन महीनों के लिए किया गया था जिसे बढ़ाकर अगले तीन महीने जून, जुलाई और अगस्त तक कर दिया गया है।